चाइल्डलाइन चंबा द्वारा ओपन हाउस कार्यक्रम का आयोजन एवं इस दौरान बच्चों की सुरक्षा को लेकर सामने आई गंभीर समस्या!

Himachal News

दिनांक 25 अगस्त 2023 को चाइल्डलाइन चंबा द्वारा राजकीय प्राथमिक पाठशाला कुम्हारका में ओपन हाउस कार्यक्रम का आयोजन किया गया! कार्यक्रम में स्कूल में कार्यरत जेबीटी शिक्षक डिंपल कुमार व स्कूल प्रबंधन कमेटी के अध्यक्ष विजय कुमार विशेष रूप से उपस्थित रहे! कार्यक्रम के दौरान चाइल्डलाइन टीम सदस्या व सदस्य पंकज कुमार द्वारा उपस्थित बच्चों को चाइल्डलाइन के टोल फ्री नंबर 1098 की विस्तृत जानकारी दी। टीम द्वारा मुफ्त फोन सेवा 1098 के माध्यम से अनाथ अर्ध-अनाथ, स्कूल छोड़ चुके, घर से भागे हुए, मानसिक और शारीरिक शारीरिक रूप से अक्षम, शोषित, अति निर्धन, बाल-विवाह से ग्रसित, बाल-मजदूरी से ग्रसित, छेड़छाड़ से पीड़ित व अन्य किसी भी कारण से शोषित बच्चों हेतु चाइल्ड लाइन के माध्यम से दी जाने वाली सेवाओं की विस्तृत जानकारी प्रदान की गई। उपस्थित लोगों को पोक्सो अधिनियम के संबंध में भी जागरूक किया गया! बच्चों को बताया गया कि यदि किसी के द्वारा नाबालिक बच्चों को बहलाया-फुसलाया जाता है तो इसे किसी भी रूप में नजर अंदाज ना किया जाए! इसके साथ-साथ नशे की बुराई व सोशल-मीडिया के लाभदायक व हानिकारक प्रभावों सहित पोषण के संबंध में भी चर्चा की गई!
चाइल्डलाइन के जिला समन्वयक कपिल शर्मा ने बताया कि इस दौरान बच्चों की सुरक्षा से जुड़ी स्कूल की एक गंभीर समस्या निकल कर सामने आई है! कार्यरत JBT अध्यापक डिंपल कुमार का कहना है की काफी समय पहले स्कूल की दूसरी मंजिल पर एक कमरे का निर्माण गया था! जिसकी अलग से राशि स्वीकृत हुई थी! परंतु बाद में केवल एक कमरे की छत डालने के लिए ही विकास खण्ड मैहला द्वारा BASP मद से 1,20,000 रु. की राशि स्वीकृत करवाई गई! परन्तु छत के ऊपर चदर पपूरी नहीं डाली गई और साथ ही उस छत का आगे का जो हिस्सा है उसमें चदर के छोटे-छोटे टुकड़े लगाए गए जो निकल गए हैं और हवा में झूलते रहते हैं! साथ ही छत के बीच क्या हिस्सा भी अभी खुला है जिसमें से पानी रिकर कमरे में आ जाता है! मतलब इतना अधिक बजट खर्च करने के बावजूद भी आज कमरा उपयोग योग्य नहीं है तथा जर्जर हालत में है! जिससे बच्चों की सुरक्षा को लेकर खतरा बना हुआ है क्योंकि ये टीन के टुकड़े कभी भी बच्चों के ऊपर गिर सकते है! वर्तमान में कार्यरत अध्यापक ने बताया कि उनको इस स्कूल में सेवाएं देते अभी बहुत कम समय हुआ है! लेकिन उनसे पहले जिन अध्यापकों ने उक्त स्कूल में अपनी सेवाएं दी हैं, उन्होंने इस संबंध में पूर्व जिलाधीश चंबा को भी लिखित में सूचित किया था! परंतु समस्या अभी भी जस की तस बनी हुई है! यह भी जांच का विषय है और ध्यान देने योग्य बात है कि मात्र कमरे की एक छत के लिए 1,20,000 रु० स्वीकृत किए जाते हैं और उसमें इतना क्या खर्च हो गया की टीन के टुकड़े डालने की नौबत आ गई और जो आज बच्चों की सुरक्षा के लिए खतरा बने हुए हैं! इस बात की गंभीरता से जांच की जानी चाहिए और इसमें जो भी दोषी पाए जाते हैं उनके विरुद्ध कार्रवाई की जानी चाहिए! उक्त समस्या के संबंध में चाइल्डलाइन चंबा द्वारा जिलाधीश चंबा को भी सूचित किया जाएगा एवं समस्या के शीघ्र निदान हेतु आग्रह किया जाएगा ताकि किसी अनहोनी घटना से बचा जा सके!
कार्यक्रम के दौरान 45 बच्चे एवं अन्य 23 व्यस्कों सहित 68 लोग मौजूद रहे!

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