सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार की मुश्किलें खत्म होने का नाम नहीं ले रही है.विधानसभा सत्र से पहले DA और एरियर की मांग को लेकर मोर्चा खोल कर बैठे सचिवालय सेवाएं कर्मचारी महासंघ ने एक बार फिर 17 सितंबर को गेट मीटिंग का एलान कर दिया है।
सचिवालय सेवाएं कर्मचारी महासंघ के अध्यक्ष संजीव शर्मा ने कहा कि महासंघ ने तय किया है कि कर्मचारियों के मुद्दों पर 17 सितंबर को गेट मीटिंग होगी.उन्होंने कहा कि विधानसभा सत्र के दौरान सचिवालय कर्मचारियों ने अपना काम पूरी निष्ठा से किया.लेकिन इसका इनाम उन्हें प्रिविलेज मोशन के रूप में दिया गया.उन्होंने कहा कि प्रदेश के इतिहास में पहली बार चुने हुए कर्मचारी नेताओं के खिलाफ प्रिविलेज मोशन लाया गया.उन्होंने कहा कि प्रिविलेज मोशन आया है लेकिन इससे वह डरने वाले नहीं है.उन्होंने कहा कि न तो विधानसभा में विघ्न डाला न ही विधानसभा में किसी को गाली दी फिर भी प्रिविलेज मोशन लाया गया.उन्होंने कहा कि कर्मचारी सरकार के परिवार के लोग है.उन्होंने वार्ता का रास्ता खुला रखा है प्रदेश सरकार वार्ता के लिए बुलाती है तो कर्मचारी वार्ता के लिए तैयार हैं.मगर सरकार ने अभी तक बात नहीं सुनी. ऐसे में महासंघ ने तय किया है कि 17 सितंबर को गेट मीटिंग की जाएगी, इसके बाद आगे की रणनीति तय होगी ।
संजीव शर्मा ने कहा कि सार्वजनिक अवकाश का भी एक रास्ता है परंतु वो नही चाहते नौबत यहां तक आए.बता दें कि हिमाचल प्रदेश कर्मचारियों की DA की तीन किश्त पेंडिंग है और चौथी देने को हो गई है.ऐसे में लंबित DA एरियर की मांग को लेकर कर्मचारियों ने विधानसभा मानसुन सत्र से पहले प्रदेश सरकार के खिलाफ विशाल गेट मीटिंग की.जिसमे सरकार व कर्मचारियों के बीच गतिरोध शुरू हुआ था जो टूटने का नाम नही ले रहा है. सरकार ने विधानसभा में कर्मचारी नेताओं के खिलाफ विशेषाधिकार नोटिस लाए है. सरकार सख्ती में नजर आ रही और कर्मचारी एक बार फिर मोर्चा खोलने की तैयारी में है.